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-सुरेश प्रसाद आजाद
नवादा में अपर समाहर्ता -सह-जिला दंडाधिकारी ने समहणालय सभा कक्ष में हिन्दी दिवस के अवसर पर अधिकारियों और कर्मियों को राष्ट्रीय हिंदी दिवस की 74 वीं वर्षगांठ के शुभ अवसर पर राजभाषा प्रतिज्ञा दिलाया ।
हिन्दी दिवस-
० 1950 में हिंदी को आधिकारिक भाषा का दर्जा
मिला था
० इस भाषा का प्रयोग 60 करोड़ से ज्यादा लोगों
द्वारा किया जाता है ।
० इस भाषा का प्रयोग 176 विदेशी विद्यालय में
पढ़ाई की जाती है ।
० 20 से अधिक देशों में हिन्दी का प्रयोग किया
जाता है ।
० 93 %भारतीय युवा हिन्दी यूट्यूब पर हिंदी में वीडियो
अधिक देखना पसंद करते हैं….
० 94% की दर सेडिजिटल मीडिया में हिन्दी सामग्री की मांग बढ़
रही हैं ।
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हिंदी दिवस प्रत्येक वर्ष 14 सितंबर को मनाया जाता है । 14 सितंबर 1949 को संविधान सभा ने एक मत से यह निर्णय लिया की हिंदी ही भारत की राजभाषा होगी। इसी महत्वपूर्ण निर्णय के महत्व को प्रतिपादित करने तथा हिंदी को हर क्षेत्र में प्रसारित करने के लिए राष्ट्रभाषा प्रचार समिति वर्धा के अनुरोध पर वर्ष 1953 से पूरे भारत में 14 सितंबर को प्रतिवर्ष हिंदी दिवस के रूप में मनाया जाता है।
14 सितंबर 1949 को हिंदी के पुरोधा व्यौहार राजेंद्र सिंह का 50 वां जन्म दिन था, जिन्होंने हिंदी को राष्ट्रभाषा बनाने के लिए बहुत लंबा संघर्ष किया । स्वतंत्रता प्राप्ति के बाद हिंदी को राष्ट्रभाषा के रूप में स्थापित करवाने के लिए काका कालेलकर , मैथिलीशरण गुप्त , हजारी प्रसाद द्विवेदी ,सेठ गोविंद दास आदि साहित्यकारों को व्यौहार राजेंद्र सिंह ने अथक प्रयास किया ।
बर्ष 1918 में गांधी जी ने हिंदी साहित्य सम्मेलन में हिंदी भाषा को राजभाषा बनाने को कहा था । इसे गांधी जी ने जनमानस की भाषा भी कहा था । वर्ष 1949 में स्वतंत्र भारत की राष्ट्रभाषा के प्रश्न पर 14 सितंबर 1949 को काफी विचार -विमर्श के बाद यह निर्णय लिया गया जो भारतीय संविधान के भाग 17 के अध्याय की अनुच्छेद 343(1) में वर्णित है । इसके अनुसार संघ की राष्ट्रभाषा हिंदी और लिपिक देवनागरी होगी ।
इसी तरह प्रति बर्ष 14 सितम्बर को हिन्दी दिवस मनाया जाता है ।